chana bhav teji mandi report

Spread the love

नमस्कार किसान भाइयों हम आपको रोजाना देशभर की मंडियों के ताजा भाव अपडेट उपलब्ध करवाते हैं और साथ में आपको फसलों की तेजी मंदी की जानकारी भी उपलब्ध करवायेंगें। रोजाना अपनी मंडी के भाव और तेजी मंदी रिपोर्ट पाने के लिए हमारी वेबसाइट पर जरूर विजीट करें और गुगल पर सर्च जरूर करें 👉 Mandi xpert

चना भविष्य 2023, चना भाव तेजी मंदी रिपोर्ट, चना भाव, chana bhav today,

आइए जानते हैं चना भाव में इस सप्ताह क्या रहने वाला है।

चना साप्ताहिक तेजी मंदी रिपोर्ट।

चना सप्ताहिक रिपोर्ट: पिछला सप्ताह सुरुवात सोमवार दिल्ली राजस्थान लाइन नया 5125 रुपये पर खुला था और शनिवार शाम ओल्ड चना 5100 रुपये पर बंद हुआ। बीते सप्ताह के दौरान चना चना दाल बेसन में मांग कमजोर बनी रहने से चना भाव में -25 रूपये कुन्टल की गिरावट दर्ज हुआ, शुक्रवार चना बाजार सप्ताह के दौरान रहा कमजोर, लेकिन और शनिवार को ताजा खरीदी। से अच्छा सुधार देखा गया।

दिल्ली चना गुरुवार (21 अप्रैल) को 4950 तक गिर गया था लेकिन वहां से 150 सुधरकर 5100 के भाव पर शनिवार को बंद हुआ। चना में सुधार के दो कारण रहे निचे भाव में स्टॉकिस्ट और मिलर्स की खरीदी। मंडियों में सुस्त आवक। दिल्ली चना 18 मार्च को 5400 था लेकिन नाफेड द्वारा बंपर खरीदी और मटर आयात खुलने के अफवाह से 450 रुपये या 8.3% घटकर 4950 का निचे स्तर बनाया। नाफेड दवारा बंपर 12.69 लाख टन खरीदी हो चुकी है। और इसका कारण मंडियों एमएसपी निचे के भाव है।
अब आगे क्या?

चना बाजार


राजस्थान, एमपी और दक्षिण भारत की मंडियों में चना की आवक कमजोर। राजस्थान और गुजरात में 35-40% एमपी 30-35% चना की फसल कमजोर होने का अनुमान। कर्नाटक, तमिलनाडु और आंध्र प्रदेश का अधिकतर चना बिक गया या नाफेड के पास गया। एमपी में भी तेजी से नाफेड के पास चना जा रहा और मंडियों में आवक कम है। अगले एक माह में लगभग सभी मंडियों में चना की आवक सुख जाएगी।

क्योंकि राजस्थान और मध्यप्रदेश में बेमौसम बारिश के कारण चने की फसल तबाह हो गई थी। और राजस्थान में बारानी एरिया में बारिश ना होने की वजह से चना का उत्पादन घटकर आधे से भी कम रह गया। मध्यप्रदेश के काफी क्षेत्र में चने की फसल को नुकसान पहुंचा और जिसके कारण उत्पादन घटकर आधा रह गया।

चना का भविष्य नाफेड के हाथ में। नाफेड पिछले कुछ वर्षों से चना का सबसे बड़ा स्टॉकिस्ट बना हुआ है। इस साल भी कुछ ऐसा ही है और अब तक बंपर खरीदी कर चुका है। मंडियों में आवक जब कम होगी तो नाफेड के बिक्री टेंडर पर मांग निकलेगी। दिल्ली चना जून-जुलाई तक 5500+ तक जा सकता है

वर्तमान भाव में चना में जोखिम कम इसलिए जरुरतनुसार खरीदी की सलाह। चना में बड़ी तेजी में नहीं रहना चाहिए क्योंकि चना की तेजी रोकने के लिए सरकार के पास कई विकल्प है।
व्यापार अपने विवेक से करें

काबुली चना सप्ताहिक तेजी मंदी रिपोर्ट

पिछला सप्ताह सुरुवात सोमवार इंदौर काबुली (40/42) 12,200 रुपये पर खुला था और शनिवार शाम (40/42) 12,300 रुपये पर बंद हुआ। बीते सप्ताह के दौरान चना काबुली मे मांग निकलने से +100 रूपये प्रति कुन्टल की मजबूत दर्ज हुआ। काबुली के दाम में पिछले सप्ताह उतार-चढ़ाव के बीच स्थिर रहे। काबुली की आवक मंडियों में औसत या सामान्य रहा। घरेलु और निर्यात पूछपरख फिलहाल जरुरत अनुसार है। अच्छी क्वालिटी बोल्ड काबुली की आवक कम है और लेवाल भी सिमित है।

20 मई से शादी ब्याह के सीजन का मुहूर्त शुरू होने की उम्मीद। कांबली की सबसे अधिक घरेलू खपत शादी ब्याह और होटल्स में रहती है I निर्यात मांग में भी धीरे धीरे सुधार होने की उम्मीद खासकर बोल्ड क्वालिटी में। विदेशों में काबुली का स्टॉक कमजोर है (खासकर बोल्ड क्वालिटी) यदि अंतराष्ट्रीय बाजार में मांग निकलती है।

भारत के काबुली की मांग बढ़ेगी। कृषि बाजार भाव सर्विस में काबुली चना में हम अभी न्यूट्रल है। इसलिए सिमित कारोबार की सलाह काबुली चना कंटेनर (42-44) 12900 के ऊपर ही तेजी की उम्मीद। जबकि काबुली चना कंटेनर 11700 के निचे कमजोरी का संकेत।**व्यापार अपने विवेक से करें ।

Don`t copy text!